अनुवाद -अनिमा दास
क्या है देश..???
क्या इसका कोई
है अस्तित्व.. कोई परिचय???
अंकित सीमारेखा?
जैसे कारागार- सा भाव लिये
जैसे धूल का है महाबंध...।
क्या है ज्ञात तुम्हें...?
किसने खींची यह रेखा...?
कौन है वह अमीन....???
नितांत, क्रीड़ाभूमि पर
अंकित रेखाएँ जैसी..
कैसे किया है उत्कीर्ण;
नख से अथवा
किसी तीर से
अथवा स्वयं के श्वास में
वाहित वायु से???
अथवा, जिसने की है
अंकित...रेखाएँ
हथेली में... वह
अथवा कोई अन्य शक्ति???
हमारे गणतंत्र का
क्या है गुणसूत्र?
कौन सा नक्षत्र है स्थिर
हमारे विस्तृत आकाश में?
कौन सा तत्त्व..
जोड़ रहा भूत एवं भविष्य को?
एक निश्चित अंतराल में..
कौन सी ध्वनि
होती परिवर्तित मंत्र में
एवं करती सुरभित
जन्म से मोक्ष पर्यंत...
मुहूर्त को करता अमूर्त...?
नहीं है तुम्हारे शब्दों में
अथवा भाव में, अथवा
नहीं होता परिभाषित
तुम्हारे भूय- दर्शन में
क्यूँ होता अवतरित
एक दिव्य पुरुष...!!!
जिन उक्तियों से तुम
कर रहे हो आकर्षित
किया है बलपूर्वक अधिकार
हमारे संवेदनशील विचारों पर
रचे हैं ... नारे , समूह
तूर्य तथा भेरी
एवं बांधा है जिस छल से,
उसका उत्स कहाँ है?
कहाँ है उसका इतिहास ???
कुछ ऐसे विचार
मन मस्तिष्क में हैं स्थित
राष्ट्रीय चिह्न... संकेत को
नहीं कर पाता चिह्नित...
इस कोलाहल में...
अतः करता हूँ प्रश्न मैं...
क्या है देश... कहाँ है देश???
मुझे कह सकते हो तुम मूर्ख
किंतु कदापि न कहना
देशद्रोही...
तुम्हारे विचार
कभी होते प्रतीत
पवन में भंवर से
अथवा कभी
उर्मियों के फेन से ।
हाँ.. आज मेरे विचार में
देश नामक कुछ भी नहीं
तुम्हारा देश
मेरे देश में नहीं है
किंतु मेरा देश
तुम्हारे देश में किया है
आत्मगोपन...
यह चिह्नित करना होगा
अति सरल...!!!
कभी तो
मुक्त हृदय.. मुक्त कंठ से
एक बार मुझसे करो प्रश्न,
क्या देश नामक
कुछ है???
5 comments:
जी मैं हृदय गह्वर से धन्यवाद अर्पण करती हूँ मेरे अनुसृजन को उदंती में स्थान देने हेतु..🙏🌹मैं चिरऋणी रहूँगी 🌹🙏🌹
सशक्त कविता।कवि एवं अनुवादक दोनो को बधाई।
जी सर हार्दिक आभार 🙏🌹
सुन्दर रचना हेतु कवि रक्षत नायक जी एवं श्रेष्ठ अनुवाद के लिए सुप्रसिद्ध कवयित्री अनिमा दास जी को हार्दिक बधाई 💐💐
हार्दिक आभार सर 🌹🙏😊
Post a Comment